कोरोना के मामले जैसे जैसे घटते जा रहा है ,देश में सब कुछ फिर से सामान्य होता जा रहा है और अब जनजीवन तेजी से पटरी पर लौटने लगा है।
इसी को देखते हुए विश्वविद्यालय के छात्र छात्राओं ने भी क्लास को ऑफलाइन चलाने के लिए सरकार और प्रशासन के लोगो के सामने मांग रखी और कइयों बार धरना प्रदर्शन भी किया। BHU VC श्री सुधीर जैन ने विश्वविद्यालय को खोलने का निर्णय लेते हुए 2nd year और 3rd year वाले छात्रों आदेश जारी कर नोटिस भी निकाल दिया। लेकिन अब bhu छात्रों का एक गुट केवल ऑफलाइन क्लासेज चलाने का विरोध कर रहा है।
आखिर क्या चाहते है केवल ऑफलाइन क्लास का विरोध करने वाले छात्र:-
सेंट्रल ऑफिस के बाहर ऑफलाइन क्लासेज के विरोध में धरना प्रदर्शन करने वाले छात्रों का एक गुट चाहता है की क्लासेज केवल ऑफलाइन मोड में ही न चलाई जाए। क्लास को हाइब्रिड मोड (ऑनलाइन और ऑफलाइन दोनो) में चलाया जाए। जब पूछा गया कि आप ऑफलाइन क्लासेज से क्या दिक्कत है ? तब धरणारत छात्रों का कहना था कि हम लोग का सिलेबस का लगभग 70 % भाग ऑनलाइन क्लास से ही पूरा हो चुका है और हम लोग अचानक से ऑफलाइन परीक्षा देने की स्थिति में नहीं हैं। और न तो सभी छात्र छात्राओं को विश्वविद्यालय द्वारा 2 महीने उन्हें रहने के लिए सभी को हॉस्टल सुविधा मिल पा रही और न ही इतने कम समय में बाहर किराए पर कमरा ले सकते है और ना ही महंगा pg afford कर सकते हैं । धरनारत छात्रों ने बताया कि लड़कियों को सबसे ज्यादा समस्या का सामना करना पड़ रहा है । इसीलिए हमलोग चाहते है कि सेमेस्टर परीक्षा पूर्व की भांति OBE मोड में कराने की व्यवस्था जारी रहे।
किन छात्र छात्राओं को ऑफलाइन क्लास से हो रही सबसे ज्यादा समस्या :-
बीएचयू में सिर्फ पूर्वांचल और up के ही मात्र छात्र छात्रा अध्ययन करने नहीं आते वरन पूरे भारत के कोने कोने से आते है। ऐसे में वे छात्र जो बिहार, बंगाल ,असम, अरूणांचलप्रदेश, महाराष्ट्र, हैदराबाद, केरल, राजस्थान ,झारखंड ,छत्तीसगढ़ जैसे दूर दूर स्थित राज्यो के रहने वाले छात्र है उनका कहना है कि ट्रेनों में महीनो महीनो का रिजर्वेशन फुल दिखा रहा है। और अब पढ़ाई मात्र दो महीने बची है और सिलेबस भी लगभग पूरा होने को है ऐसे में ऑफलाइन क्लास शुरू होने से उनको 2 महीने के लिए bhu वापस आकर सेटअप होना दिक्कत कर रहा है।
सबको हॉस्टल न मिल पाने वाली समस्या:-
यूं तो bhu एशिया की सबसे बड़ी आवासीय विश्वविद्यालय है लेकिन यहाँ छात्रों का स्ट्रेंथ भी कुछ कम नहीं है। 65+ हॉस्टल होने के बावजूद भी सभी छात्रों को हॉस्टल सुविधा नही मिल पाता है। कुछ छात्र covid की तीसरी लहर के दौरान ही bhu के बंद होने के घोषणा के साथ ही अपना alloted hostel seat छोड़ के घर चले गए और अब पुनः ऑफलाइन क्लासेज खुलने से उनको दिक्कत हो रही और कमरा भी रिकवर नही हो पा रहा है।
महंगा pg: -
BHU के बाहर लंका ,हैदराबाद , नरिया , छित्तूपुर , सिरगेट , सामनेघाट , सकेतनगर और सुंदरपुर इलाके के pg मालिक सिर्फ दो महीने के लिए अपना रूम नही देना चाह रहे । इसलिए छात्र छात्राओं की समस्या और अधिक बढ़ जा रही। सबसे अधिक समस्या उन छात्राओं को हो रही है जिनको हॉस्टल नही मिला है और ना ही pg मिल पा रहा है।ऐसे में ये छात्र छात्रा कैसे ऑफलाइन क्लासेज का सामना कर पाएंगे।
सबको Covid 19 की वैक्सीन न लग पाना:-
यूं तो सरकार ने और लोगो ने covid 19 की वैक्सीनेशन में बढ़चढ़ कर हिस्सा लिया है और देश के अधिकांश लोगो को वैक्सीन लग भी चुका है। लेकिन अभी भी बहुत ऐसे छात्र है जिनको परिस्थितिवश या तो एक ही डोज लग पाया है या फिर अभी तक एक भी डोज नही लग पाया है। ऐसे छात्र चिंतित है कि कही कोई covid का शिकार हो गया तो?
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